“ऋषी संविधान” का अमलः नयी पेशवाई का आक्रमण!

संविधान मे ‘समता’ शब्द लिखनेसे
समाज मे समता नही आती है

समता की मानसिकता बनानेवाले पाठ्यक्रम (Syllabus)
बनाने का कानून भी संविधान मे होना चाहिए था!!

-बता रहे है प्रोफेसर श्रावण देवरे

18February2025 का इंटरव्ह्यु, Bahujan 85 channel की लिंक-
https://youtu.be/L7V__zNuBwA?si=oWUWT6kxoV9WzKC9

कुछ महत्वपूर्ण मुद्दे-
1) साढे पाच लाख गावों मे लागू होगा ‘ऋषी संविधान’! ‘अमर उजाला’ अखबार (तारीख- 18 फेब्रुअरी 2025)
2) केवल राजनैतिक लोगोंके लिए या केवल राजनैतिक प्रोग्राम के लिए ही संविधान की शपथ लेने का प्रावधान है! सभी धार्मिक, सांस्कृतिक, समाजिक व्यक्ती, संघटन और उनके प्रोग्राम के लिए संविधान की शपथ अनिवार्य करने के लिए संविधान मे कानून बनाने की आवश्यकता है!
3) अगर संविधान मे ‘ऐसा’ प्रावधान होता तो बाबासाहब के भारतीय संविधान के खिलाफ ‘‘ऋषी संविधान’’ लागू करने की हिम्मत ब्राह्मणवादी कभी न करते!
4) संविधान मे ‘समता, स्वंत्रतता, बंधूत्व’ लिख दिया, लेकीन इसको कैसे हासिल करना है, यह नही लिखा! बौध्द विश्वविद्यालयों का समतावादी अनुभव और हिन्दू विश्वविद्यालयों का ब्राह्मणवादी अनुभन सामने होने के बावजूद बाबासाहबने ‘‘समतावादी शिक्षा व्यवस्था’’ का कोई भी प्रावधान संविधान मे नही किया!
5) देश की समतावादी बौद्ध विचारधारा को विषमतावादी जातीय विचारधारा मे बदलनेवाले ब्राह्मणवाद का इतिहास और चरित्र मालूम होने बावजूद बाबासाहब ने समतावादी पाठ्यक्रम (Curriculum) बनाने का कानून संविधान मे नही किया!


6) संविधान सभा मे ब्राह्मणवादी सदस्य ज्यादा होने के कारण बाबासाहब कुछ ज्यादा नही कर सके, लेकीन हर फुले-आंबेडकरवादी आदमी नया फुले-आंबेडकरी पाठ्यक्रम बनाकर समांतर ‘‘समतावादी शिक्षा व्यवस्था’’ खडा कर सकता है!
7) खूद बाबासाहेब कहते है की, ‘‘संविधान कितना भी क्रांतिकारी हो, लागू करनेवाले अगर पुरानी सोंच के होंगे तो नयी समतावादी व्यवस्था कभी भी नही आयेगी!’’ जनता की सोच बदलने वाली बौद्ध विश्वविद्यालयों जैसी समतावादी शिक्षा व्यवस्था का प्रावधान संविधान मे होना जरूरी है!
8) जो काम बाबासाहब ना कर सके वो काम हम फुले-आंबेडकरवादी कर सकते है! कैसे कर सकते है, बता रहे है प्रोफे. श्रावण देवरे अपने 27 साल के मॉडेल का अनुभव.
9) अगर अनपढ-गवार साधू-संत जो काम ‘र्ऋषी संविधान’ के माध्यम से कर सकते है, तो वो काम बाबासाहब के वजहसे पढे-लिखे हमारे जैसे विद्वान संविधान बचाने के लिए क्यों नही कर सकते है??

सूचना- प्रोफे. श्रावण देवरे का नया मोबाईल नंबर- 75 88 07 28 32 अपने सभी व्हाट्सप गृप मे सामील करे!

– Vivek Rana, Editor,
Bahujan 85, channel

 

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